आपके घर में कई ऐसे लोग होते हैं जो सोते हुए सोते हैं। हालांकि, उनके उठने के बाद जब आप उनसे यह बात कहते हैं तो वो यकीन नहीं करते। विशेषज्ञ मानते हैं कि लोग खर्राटे तब लेते हैं जब वह बहुत सोचने के बाद सोते हैं। लेकिन अगर आपका बच्चा सोते हुए खर्राटे लेने लगे तो फिर आप क्या कहेंगे। विज्ञान इसके पीछे एक बीमारी का कारण बनता है, जिसे ऑब्स्ट्रक्टिव स्लीप एपनिया (OSA) कहा जाता है। अगर आपका बच्चा सोता हुआ नींद ले रहा है तो आपको इसकी जांच करनी चाहिए, हो सकता है कि वह ऑब्सट्रक्टिव स्लीप एपनिया जैसी बीमारी का शिकार हो जाए।

रिसर्च में क्या बात निकल कर सामने आई< /strong>

द रॉयल चिल्ड्रन हॉस्पिटल और मोनाश चिल्ड्रन हॉस्पिटल ने हाल ही में 276 बच्चों पर एक शोध किया। इस रिसर्च में उन्होंने पाया कि कई बच्चे सोते हुए सोते हैं। इनमें से ज्यादातर खर्राटे लेने वाले बच्चे ऑब्स्ट्रक्टिव स्लीप एपनिया के शिकार हैं। इन बच्चों की उम्र 3 साल से 12 साल के बीच थी। दरअसल, इस बीमारी की वजह से सांस लेने का तरीका छुरा हो जाता है और इस वजह से जब बच्चा सोते-जागते सांस लेता है तो खर्राटे की आवाज आती है। इस रिसर्च में यह भी बात सामने आई कि बच्चों का वजन ज्यादा होता है, उन्हें इस बीमारी का ज्यादा खतरा होता है।

इसका इलाज क्या है

किस चीज की सर्जरी होती है

अगर आपका बच्चा ऑब्सट्रक्टिव स्लीप एपनिया शिकार करता है और उसकी बीमारी नेजल स्प्रे या रसायनों से ठीक नहीं हो रही है तो फिर सर्जरी द्वारा बच्चे के टॉन्सिल और एडिनोएड को हटा दिया जाता है। इस सर्जरी से बच्चे को उभरने में 1 साल से ज्यादा का समय लगता है। यही कारण है कि ज्यादातर पेरेंट्स ऑपरेशन से बचते हैं। हालांकि, कई बार जब बच्चा बीमार होता है या दिन में बहुत ज्यादा दौड़-भाग कर लेता है तब भी रात को सोते हुए वह खर्राटे ले सकता है। इसलिए अगर बच्चों के लिए यह खर्राटे नियमित नहीं है तो आपको ज्यादा परेशान होने की जरूरत नहीं है। हालांकि, आप चाहें तो अपने किसी अच्छे डॉक्टर से इसे लेकर सलाह भी ले सकते हैं।

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